टांसिलाइटिस: रोकथाम और जटिलताएं

रोकथाम (बचाव)

अनेक प्रकार के वायरस और बैक्टीरिया के कारण टांसिलाइटिस हो सकता है, इसलिए सर्वोत्तम बचाव स्वास्थ्य और स्वच्छता के मूल सिद्धांतो का पालन करना है।
  • जो रोगी हैं उनके साथ निकट संपर्क में ना आएँ। यदि संभव हो तो अपने बच्चे को भी उन बच्चों से दूर रखें जिन्हें टांसिलाइटिस या गले में पीड़ा है।
  • फर्श और खिलौनों को धोएं और रोगाणुमुक्त करें।
  • अपने बच्चों को खाँसते और छींकते समय मुँह ढंकना सिखाएँ, अच्छा हो कि वे टिश्यू का प्रयोग करें जिससे संक्रमण उनके हाथों पर ना रहे। साथ ही टिश्यू के प्रयोग से नाक साफ करना भी सिखाएँ।
  • हाथों को स्वच्छ करने के लिए और खरीदी की ट्राली या अन्य बाँट कर उपयोग की जाने वाली वस्तुओं को स्वच्छ करने के लिए, उपयोग के बाद फेंक सकने लायक वाइप्स और एक हैण्ड सेनीटाईज़र अपने साथ रखें।
  • धूम्रपान ना करें।
  • शीतल पेय और आइसक्रीम ना लें।
  • संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए हाथों को उचित प्रकार से स्वच्छ करें।
WASHING HANDS AND SNEEZING


ध्यान देने की बातें

  • टॉन्सिल्स पर सफ़ेद धब्बे।
  • निगलने में कठिनाई।

डॉक्टर को कब दिखाएँ

  • पेट में दर्द और सिरदर्द।
  • कान में दर्द।
डॉक्टर से कब मिलें:
  • गले में तीव्र पीड़ा मतलब निगलने में कठिनाई।
  • 101 या ज्यादा बुखार।
  • सूजे और असहनीय टॉन्सिल्स।
  • पेट में और सिर में दर्द।
  • गले में एक ही तरफ दर्द।






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